सीईए और आईआईटी रुड़की ने विद्युत क्षेत्र में अनुसंधान और क्षमता निर्माण के लिए समझौता ज्ञापन पर किए हस्ताक्षर

(रिपोर्ट/ दिलशाद खान)(KNEWS18)
📍 नई दिल्ली, 1 जुलाई, 2025 — भारत सरकार के विद्युत मंत्रालय के अधीन केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण (CEA) और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान रुड़की (IIT रुड़की) ने भारतीय विद्युत क्षेत्र में अनुसंधान, नवाचार और तकनीकी क्षमताओं के विकास के लिए एक ऐतिहासिक समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए।
यह साझेदारी दोनों संस्थानों के बीच साक्ष्य-आधारित योजना, नवीकरणीय ऊर्जा, ग्रिड लचीलापन, ऊर्जा भंडारण और दीर्घकालिक विद्युत प्रणाली नियोजन जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सहयोग को मजबूत करेगी।
🔬 क्या होगा इस समझौते के अंतर्गत?
विद्युत प्रणाली नियोजन, नवीकरणीय ऊर्जा एकीकरण, ग्रिड विश्वसनीयता और ऊर्जा भंडारण पर संयुक्त अनुसंधान परियोजनाएं
नीति विश्लेषण और तकनीकी अध्ययन के ज़रिए साक्ष्य-आधारित निर्णय लेने में सहयोग
सेमिनार, प्रशिक्षण, इंटर्नशिप और कार्यशालाएं जैसे ज्ञान-साझाकरण कार्यक्रमों का आयोजन
तकनीकी उपकरण और सॉफ़्टवेयर का विकास
CEA और विद्युत क्षेत्र के अन्य संस्थानों के पेशेवरों के लिए कस्टमाइज्ड स्किल डेवेलपमेंट प्रोग्राम्स
🗣️ नेतृत्व की प्रतिक्रियाएं
श्री घनश्याम प्रसाद, अध्यक्ष, केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण ने इस अवसर पर कहा:
> “ऊर्जा क्षेत्र में टिकाऊ और अभिनव समाधान प्राप्त करने के लिए शिक्षा और सरकार के बीच सहयोग बेहद आवश्यक है। यह साझेदारी उसी दिशा में एक मील का पत्थर है।”
प्रो. के.के. पंत, निदेशक, IIT रुड़की ने कहा:
> “IIT रुड़की का सदैव यह उद्देश्य रहा है कि हम राष्ट्रीय विकास में अपनी भूमिका निभाएं। यह साझेदारी न केवल विद्युत क्षेत्र में अनुसंधान को बढ़ावा देगी, बल्कि व्यावसायिकों के कौशल को भी सशक्त बनाएगी।”
⚡ भारत की स्वच्छ और आत्मनिर्भर ऊर्जा प्रणाली की ओर एक और कदम
यह MoU भारत की ऊर्जा अवसंरचना को मजबूत करने, ऊर्जा क्षेत्र में नवाचार को प्रोत्साहित करने और एक स्वच्छ, विश्वसनीय एवं आत्मनिर्भर विद्युत प्रणाली की दिशा में अग्रसर होने का एक महत्वपूर्ण संकेत है।