भगवान विश्वकर्मा जयंती सिंचाई कार्यशाला रुड़की में धूमधाम से मनाई गई
(ब्योरो – दिलशाद खान)
रुड़की, 17 सितंबर 2025। राजकीय सिंचाई उद्योगशाला कर्मचारी ट्रेड यूनियन के तत्वाधान में बुधवार को सिंचाई कार्यशाला के मंदिर प्रांगण में भगवान श्री विश्वकर्मा महाराज का जन्मोत्सव बड़े धूमधाम, श्रद्धा और उत्साह के साथ मनाया गया। इस अवसर पर सिंचाई विभाग के अधिकारियों, कर्मचारियों और कारीगरों ने सामूहिक रूप से पूजा-अर्चना कर भगवान विश्वकर्मा से सुख-समृद्धि और कार्यक्षेत्र में उन्नति की कामना की। कार्यक्रम का शुभारंभ आचार्य जी द्वारा वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ हुआ। भगवान विश्वकर्मा महाराज की प्रतिमा के समक्ष पूजा और हवन संपन्न कराए गए। इस दौरान सिंचाई कार्यशाला रुड़की के अधिशासी अभियंता किंशुक गोयल और स्थापना खंड रुड़की के अधिशासी अभियंता मनोज कुमार ने संयुक्त रूप से पूजा-अर्चना की। उन्होंने भगवान विश्वकर्मा से सभी कर्मचारियों, अधिकारियों और कारीगरों के स्वस्थ, सुखी और समृद्ध जीवन की प्रार्थना की।ट्रेड यूनियन के मंत्री अरविंद राजपूत ने कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए बताया कि भगवान विश्वकर्मा को ब्रह्मांड का दिव्य शिल्पकार और वास्तुकार माना जाता है। उन्होंने ब्रह्मा जी के साथ मिलकर सृष्टि की रचना की थी। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, स्वर्ण नगरी श्रीलंका का निर्माण भी भगवान विश्वकर्मा के द्वारा ही हुआ था।
राजपूत ने कहा कि विश्वकर्मा जयंती पूरे देश में इंजीनियरों, शिल्पकारों और कारीगरों द्वारा मनाई जाती है। इस दिन औजारों और मशीनों की पूजा कर कार्यक्षेत्र में सफलता और बाधाओं से मुक्ति की प्रार्थना की जाती है। यह दिन श्रमिक वर्ग, नवाचार और शिल्प कौशल को सम्मान देने का उत्सव है।पूजा-अर्चना के उपरांत प्रसाद वितरण किया गया। तत्पश्चात अधिशासी अभियंता किंशुक गोयल की ओर से भंडारे का आयोजन किया गया, जिसमें उपस्थित सभी अधिकारियों, कर्मचारियों और श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया। इस अवसर पर कार्यशाला का वातावरण भक्ति और सामूहिकता की भावना से सराबोर रहा। कार्यक्रम में अधिशासी अभियंता किंशुक गोयल, अधिशासी अभियंता मनोज कुमार, सहायक अभियंता डीगा राम सैनी, जूनियर इंजीनियर प्रियंका सैनी, मंत्री अरविंद राजपूत, प्रदीप चौहान, जूनियर इंजीनियर दीक्षा नेगी, विभा सैनी, निरंजन कुमार, सुनील कुमार अग्रवाल, सहायक अभियंता जितेंद्र रावत, जूनियर इंजीनियर मनोज कुमार, सतीश कुमार, राजीव रावत, आशीष सैनी, पुष्यक अग्रवाल, हरिशंकर उपाध्याय, राजेंद्र कुमार, मुकुल पाल, विवेक पुंडीर, मनोज कुमार सैनी सहित बड़ी संख्या में अधिकारी और कर्मचारी मौजूद रहे।
विश्वकर्मा जयंती बनी सामूहिक उत्सव का प्रतीक
इस अवसर पर सभी उपस्थित लोगों ने एक स्वर में कहा कि विश्वकर्मा जयंती केवल धार्मिक आस्था का पर्व नहीं, बल्कि श्रम, कौशल और परिश्रम का सम्मान भी है। यह दिन हर उस कारीगर और कर्मचारी के योगदान को याद करने का अवसर है, जो अपने परिश्रम से समाज और राष्ट्र की प्रगति में योगदान देता है।



