सिद्धेश्वर महादेव मंदिर में श्री विष्णु महायज्ञ एवं श्रीमद् भागवत कथा का छठा दिन — श्री कृष्ण-रुक्मणी विवाह उत्सव धूमधाम से संपन्न
(ब्योरो – दिलशाद खान।KNEWS18)
रुड़की। सिविल लाइन स्थित सिद्धेश्वर महादेव मंदिर में इन दिनों चल रहे श्री विष्णु महायज्ञ एवं श्रीमद् भागवत कथा का माहौल भक्तिमय रंगों से सराबोर है। छठे दिन कथा के मुख्य प्रसंग के रूप में श्रीकृष्ण-रुक्मणी विवाह का अलौकिक वर्णन किया गया। कथा स्थल पर उपस्थित श्रद्धालु भक्ति रस में डूबे दिखाई दिए, वहीं कीर्तन मंडली के मधुर भजनों और पारंपरिक गीत-नृत्य ने भगवान के विवाह उत्सव को दिव्य रूप प्रदान किया।कथा के आयोजक अमित त्यागी, मालवी त्यागी और आदित्य त्यागी ने विधि-विधान के साथ रुक्मणी माता का कन्यादान संस्कार किया।
पूरे मंडप को पुष्पों और रंगोलियों से सजाया गया था, जबकि विवाह की सभी धार्मिक रस्में वैदिक मंत्रोच्चारण के बीच संपन्न हुईं। इस पावन प्रसंग को स्मरणीय बनाने के लिए अचार्य आर्यदी जी ने सभी संतों, ब्राह्मणों और विशेष अतिथियों का सम्मानपूर्वक स्वागत किया।कथा के दौरान कीर्तन मंडली ने भक्तिरस से भरे गीत प्रस्तुत किए, जिन पर श्रद्धालु झूम उठे। संयुक्त रूप से सावित्री मंगला ने व्यास पूजा कर कथा का शुभारंभ कराया। कथा के समापन पर आरती के बाद प्रसाद वितरण किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में भक्तों ने हिस्सा लिया। मंदिर परिसर में पूरे दिन आध्यात्मिक ऊर्जाओं का अलौकिक वातावरण महसूस किया गया।इस अवसर पर क्षेत्र के अनेक सम्मानित अतिथियों की उपस्थिति कार्यक्रम की शोभा बढ़ा रही थी। इनमें पंडित पवन वत्स, आचार्य सचिन शास्त्री, विधायक प्रदीप बत्रा, समाजसेवी इंजीनियर चैरब जैन, नगर व्यापार मंडल अध्यक्ष अरविंद कश्यप, युवा नेता प्रणय प्रताप सिंह, डॉक्टर अनिल शर्मा, प्रदीप त्यागी, अशोक शर्मा आर्य, डॉक्टर टेकबल्लभ और इमरान देशभक्त प्रमुख रूप से मौजूद रहे। सभी ने भगवान के विवाह उत्सव में सहभागिता कर आशीर्वाद प्राप्त किया।अंत में अचार्य आर्यदी जी द्वारा सभी अतिथियों और सहयोगकर्ताओं का सम्मान किया गया। उन्होंने कहा कि ऐसी आध्यात्मिक सभाएं समाज को एकजुट करने, धार्मिक मूल्यों को संजोने और युवा पीढ़ी को संस्कृति से जोड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। आयोजकों ने भी श्रद्धालुओं का आभार व्यक्त किया और बताया कि आगामी दिनों में कथा के और भी दिव्य एवं प्रेरणादायक प्रसंग प्रस्तुत किए जाएंगे।श्री विष्णु महायज्ञ एवं श्रीमद् भागवत कथा का यह आयोजन लगातार क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है। भक्तों का उत्साह और मंदिर परिसर में उमड़ती आस्था यह दर्शाती है कि धार्मिक आयोजनों का समाज पर कितना सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। रुड़की में स्थित सिद्धेश्वर महादेव मंदिर इस सप्ताह आध्यात्मिक केंद्र बना हुआ है, जहां प्रतिदिन बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन और कथा श्रवण के लिए पहुँच रहे हैं।इस तरह भगवान श्रीकृष्ण-रुक्मणी विवाह का यह दिव्य आयोजन न केवल भक्तों के लिए आनंद और भक्ति का अद्भुत संगम बना, बल्कि क्षेत्र में धार्मिक और सांस्कृतिक वातावरण को और भी समृद्ध करता दिखा।



