हरिद्वार में ई-रिक्शा संचालन पर सख्ती, सड़क सुरक्षा को लेकर जिलाधिकारी ने बनाई ठोस कार्ययोजना
(ब्योरो – दिलशाद खान।KNEWS18)
जनपद में सड़क दुर्घटनाओं पर प्रभावी नियंत्रण एवं यातायात व्यवस्था को सुदृढ़ बनाने के उद्देश्य से जिलाधिकारी मयूर दीक्षित की अध्यक्षता में जिला सड़क सुरक्षा समिति की महत्वपूर्ण बैठक जिला कार्यालय सभागार में आयोजित की गई। बैठक में सड़क सुरक्षा, दुर्घटना न्यूनीकरण तथा यातायात सुधार से संबंधित विषयों पर विस्तार से समीक्षा की गई और आवश्यक निर्णय लिए गए।बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने ई-रिक्शा के अनियमित एवं अव्यवस्थित संचालन को गंभीरता से लेते हुए इनके नियमन हेतु तैयार की गई मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) को स्वीकृति प्रदान की। जिलाधिकारी ने बताया कि ई-रिक्शा सत्यापन एवं निरीक्षण अभियान 19 जनवरी 2026 से 18 फरवरी 2026 तक संचालित किया जाएगा, जो हरिद्वार एवं रुड़की नगर क्षेत्रों में लागू होगा।निर्णय के अनुसार, 19 जनवरी से प्रतिदिन लगभग 500 ई-रिक्शाओं को चरणबद्ध रूप से भौतिक निरीक्षण हेतु बुलाया जाएगा। इस दौरान ई-रिक्शा चालकों एवं स्वामियों को पुलिस सत्यापन कराने के लिए एक माह का समय दिया गया है। केवल उन्हीं ई-रिक्शाओं को संचालन की अनुमति दी जाएगी, जिनका पुलिस सत्यापन पूर्ण होगा और जिनका वाहन निरीक्षण परिवहन विभाग द्वारा सफलतापूर्वक किया जाएगा। सत्यापन पूर्ण होने के पश्चात ई-रिक्शाओं को विशेष पहचान स्टिकर जारी किया जाएगा।जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि स्टिकर प्राप्त ई-रिक्शा ही नगर क्षेत्र में संचालन के लिए अधिकृत माने जाएंगे। इसके साथ ही नगर क्षेत्र को विभिन्न जोनों में विभाजित किया जाएगा तथा प्रत्येक ई-रिक्शा चालक को अपने निर्धारित जोन में ही संचालन करना होगा। इस व्यवस्था से यातायात अव्यवस्था में कमी आएगी और अवैध व अनियमित ई-रिक्शाओं पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित किया जा सकेगा।बैठक में सड़क सुरक्षा से जुड़े अन्य महत्वपूर्ण बिंदुओं पर भी चर्चा की गई। जिलाधिकारी ने हेलमेट पहनने के नियम का शत-प्रतिशत अनुपालन सुनिश्चित कराने के निर्देश देते हुए कहा कि दोपहिया वाहन चालकों के विरुद्ध बिना हेलमेट के सख्त प्रवर्तन कार्रवाई की जाएगी। इसके अतिरिक्त ओवरलोड वाहनों पर भी कठोर कार्रवाई करने के आदेश दिए गए।हरिद्वार-लक्सर मार्ग के निरीक्षण से संबंधित रिपोर्ट भी बैठक में प्रस्तुत की गई। निरीक्षण के दौरान चिन्हित की गई कमियों को देखते हुए जिलाधिकारी ने लोक निर्माण विभाग (एनएच खंड) को निर्देश दिए कि सभी अनुशंसित सुधारात्मक कार्य एक सप्ताह के भीतर पूर्ण किए जाएं, ताकि दुर्घटनाओं की संभावनाओं को कम किया जा सके।जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने कहा कि सड़क सुरक्षा के क्षेत्र में प्रवर्तन, इंजीनियरिंग एवं जन-जागरूकता—तीनों स्तरों पर निरंतर और समन्वित कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि भविष्य में भी इस प्रकार की नियमित बैठकें आयोजित कर सड़क सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाएगी।बैठक में अधीक्षण अभियंता लोनिवि डी.के. सिंह, अधिशासी अभियंता दीपक कुमार, अधिशासी अभियंता एनएचआई अतुल शर्मा, सहायक परिवहन अधिकारी नेहा झा, निखिल शर्मा, कृष्ण चंद्र पलाड़िया सहित सभी उपजिलाधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक में शामिल रहे।



