कार्तिक पूर्णिमा स्नान पर्व पर हरिद्वार में विशेष यातायात व्यवस्था, 5 नवंबर को भारी वाहनों पर पूर्ण प्रतिबंध
(ब्योरो – दिलशाद खान।KNEWS18)
हरिद्वार, 03 नवंबर 2025 –
आगामी कार्तिक पूर्णिमा स्नान पर्व के अवसर पर 5 नवंबर को लाखों श्रद्धालुओं के हरिद्वार पहुंचने की संभावना को देखते हुए जिला प्रशासन और यातायात पुलिस ने व्यापक ट्रैफिक प्लान जारी किया है। इस दौरान श्रद्धालुओं की सुविधा, सुगम यातायात व्यवस्था और सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए कई मार्गों पर वाहनों का डायवर्जन किया गया है।प्रशासन ने बताया कि दिल्ली, मेरठ, मुजफ्फरनगर, सहारनपुर, पंजाब और हरियाणा की ओर से हरिद्वार आने वाले वाहनों के लिए विशेष रूट निर्धारित किए गए हैं। मुख्य मार्ग दिल्ली-मेरठ-मुजफ्फरनगर-नारसन-मंगलौर-गुरुकुल कांगड़ी-शंकराचार्य चौक-हरिद्वार रहेगा, जबकि पार्किंग की व्यवस्था अलकनंदा, दीनदयाल, पंतद्वीप और चमगादड़ टापू में की गई है। यदि यातायात का दबाव बढ़ता है तो वैकल्पिक मार्ग नगलाइमरती-लक्सर-फेरूपुर-जगजीतपुर-एस.एम. तिराहा-शनिचौक-मात्रसदन पुलिया रहेगा और वाहनों को बैरागी कैम्प पार्किंग में रोका जाएगा।इसी प्रकार, देहरादून और ऋषिकेश से हरिद्वार आने वाले वाहनों के लिए नेपाली फार्म-रायवाला-हरिद्वार मार्ग तय किया गया है, जिनकी पार्किंग व्यवस्था लालजीवाला, पंतद्वीप और चमगादड़ टापू में की जाएगी। वहीं, मुरादाबाद और नजीबाबाद से आने वाले वाहनों के लिए छोटे वाहनों को चिड़ियापुर-श्यामपुर-चंडीचौकी मार्ग से आने की अनुमति दी गई है, जबकि बड़े वाहनों को गौरीशंकर और नीलधारा पार्किंग में खड़ा किया जाएगा।आटो और विक्रम चालकों के लिए भी विशेष दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। देहरादून और रायवाला की ओर से आने वाले विक्रमों को केवल जयराम मोड़ तक आने की अनुमति होगी। शहर क्षेत्र में ललतारा पुल से शिवमूर्ति चौक तक सभी प्रकार के वाहनों, विक्रमों और टैक्सियों का आवागमन पूर्णतः प्रतिबंधित रहेगा।पुलिस प्रशासन ने यह भी स्पष्ट किया है कि दिनांक 4 नवंबर की शाम 6 बजे से लेकर 5 नवंबर को स्नान पर्व समाप्ति तक हरिद्वार शहर में सभी भारी वाहनों का प्रवेश प्रतिबंधित रहेगा। भारी वाहनों को नारसन बॉर्डर, मण्डावर बॉर्डर, चिड़ियापुर बॉर्डर, सिडकुल, अब्दुल कलाम चौक रुड़की, नेपाली फार्म और रायवाला में रोकने के निर्देश दिए गए हैं।हरिद्वार ट्रैफिक पुलिस ने श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे निर्धारित रूट और पार्किंग स्थल का ही उपयोग करें तथा अनावश्यक रूप से शहर के अंदर वाहन न लाएँ। पर्व के दौरान पुलिस और प्रशासन की टीमें लगातार निगरानी करेंगी ताकि श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो और स्नान पर्व शांतिपूर्ण और व्यवस्थित ढंग से संपन्न हो सके।



